बिहार लोक सेवा आयोग की 66वीं संयुक्त प्रवेश परीक्षा का फाइनल रिजल्ट 3 अगस्त को जारी हुआ. इस परीक्षा में सारण जिले का मढौरा खुर्द गांव की रहने वाली जूही ने 307वीं रैंक हासिल की है. जूही बेहद गरीब परिवार से आती हैं. उनके पिता आलू-प्याज़ बेचकर परिवार चलाते हैं.
आलू-प्याज बेचने वाले की बेटी बिहार PSC में ले आई रैंक, RDO बनेंगी जूही कुमारी
जूही कुमारी चार भाई-बहनों में सबसे छोटी हैं. उनके पिता आलू-प्याज बेचकर परिवार चलाते हैं.


जूही कुमारी चार भाई-बहनों में सबसे छोटी हैं. उनके पिता आलू प्याज के थोक विक्रेता हैं. इससे पहले जूही लगातार दो बार BPSC मेंस क्लियर नहीं कर पाई थीं. तीसरे अटेम्प्ट में जूही को सफलता मिली है. इस सफलता से उनका पूरा परिवार बेहद खुश है.
जूही के पिता बेटी की इस सफलता को अपने जीवन की सबसे बड़ी ख़ुशी बताते हैं. उन्होने आज तक से जुड़े आलोक कुमार को बताया
“मैं इस बात से ही बहुत खुश रहता था कि मेरी बेटी प्री निकाल ले रही थी. मेंस रह जाने पर मुझे थोड़ा दुःख होता था. लेकिन इस बार उसने वो कसर भी पूरी कर दी.”
जूही ने अपनी सफलता के लिए अपने बड़े भाई को प्रेरणा स्त्रोत बताया. उन्होंने कहा,
"मेरे भैया सिविल सर्विसेज की तैयारी करते हैं. उन्होंने ही मुझे मोटीवेट किया, मैंने घर से ही सेल्फ स्टडी की और मेरे भैया ने मुझे गाइडेंस दिया . मेरे मां बाप ने भी मुझे बहुत सपोर्ट किया."
जूही की इंटर तक की पढ़ाई मढौरा में हुई. उन्होंने छपरा से ग्रेजुएशन पूरा किया है. जूही की मेहनत साबित करती है कि अगर हौसला हो तो कोई मंजिल मुश्किल नहीं है. BPSC परीक्षा पास कर जूही RDO के पद पर चयनित हुई हैं.
BPSC परीक्षा के परिणामों के साथ एक और सुन्दर तस्वीर मढौरा से ही आयी है. मढौरा स्टेशन पर चाय की दुकान चलाने वाले मनोज राय के पुत्र पप्पू यादव ने भी बीपीएससी परीक्षा पास की है.
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