"यदि पुलिस आए, तो घर में तलाशी लेने देना. लेकिन एक बात का ध्यान जरूर रखना कि कहीं वे कोई कागजात अपने साथ लेकर घर में न आएं और फिर कहें कि यह आपके घर से बरामद हुआ है."बच्चों ने पिता की हिदायत सुन ली और फिर कामदा किंकर मुखर्जी अपने घर से किसी गोपनीय स्थान के लिए निकल गए. उनके जाने के कुछ दिनों बाद ब्रिटिश पुलिस के एक अधिकारी और दो कॉन्स्टेबल उनके घर पहुंचे, जहां उनका सामना कामदा के सात वर्षीय बेटे प्रणब मुखर्जी (जिन्हें प्यार से सब 'पोल्टू' कहते थे) से हुआ. 'पोल्टू' ने पुलिसकर्मियों की तलाशी ली घर के अंदर घुस रहे पुलिसकर्मियों को देखकर पोल्टू ने उन्हें रोक दिया और तलाशी लेने लगे. छोटे बच्चे की इस प्रकार की हरकत देखकर पुलिस अधिकारी और उसके साथ के दोनों कॉन्स्टेबल सन्न रह गए. बालक पोल्टू की इस हरकत को देखकर ब्रिटिश पुलिस का वह अधिकारी ठहाका मारकर हंसने लगा और बोला,
"Only a tiger could be born to a tiger."इसके बाद जब तलाशी पूरी हुई. तब पोल्टू ने उन सभी पुलिसकर्मियों से कहा-
"मेरे घर का उसूल है और साथ ही मेरे पिता का भी निर्देश है कि घर आया कोई भी व्यक्ति बिना खाना खाए वापस नहीं जाना चाहिए. इसलिए आपलोग खाना खाकर ही जाएंगे."इसके बाद पुलिसकर्मियों को बालक पोल्टू की जिद के आगे झुकना पड़ा और वे लोग खाना खाकर ही उनके घर से गए. किसे पता था कि वही बालक पोल्टू आगे चलकर प्रणब मुखर्जी के नाम से मशहूर होगा. देश के बड़े-बड़े संवैधानिक पद तक पहुंचेगा. लोकसभा और राज्यसभा में सदन का नेता बनेगा. रक्षा, विदेश और वित्त मंत्री बनेगा और अंततः उसका नाम दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र के 13वें राष्ट्रपति के तौर पर भी लिखा जाएगा.
प्रणब मुखर्जी के बारे में अफवाह फैलाने वालों की परिवार ने की खिंचाई