वो लड़का हॉकी खेलता था. सेंटर हाफ पोजीशन पर . उसे लगता था वो हॉकी के लिए ही बना है. एक दिन उसके कोच ने उसे सेंटर हाफ से हटाकर राइट हाफ पर खडा कर दिया. उसे महसूस हुआ कि वो हॉकी के लिए नहीं बना है. उसने हॉकी छोड़ क्रिकेट खेलना शुरू कर दिया. सालों बाद जब उसने क्रिकेट खेलना छोड़ा तब तक वन-डे में उसने 10,585 और टेस्ट में 10,823 रन बना डाले थे. आज आप उसे वॉल बुलाते हैं, उसका नाम राहुल द्रविड़ है.आज जन्मदिन है. टीम इंडिया की दीवार का. कुछ लिखें तो कम पडेगा. आज पढ़िए बस उनका कहा.
बात द्रविड़ की तो उन पर हर्षा भोगले क्या लिखते हैं. ये पढ़ा जाना चाहिए. [facebook_embedded_post href="https://www.facebook.com/bhogleharsha/photos/a.436522606478040.1073741828.394303300699971/721132478017050"]













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