10 महीने की बच्ची बिस्मा बच नहीं पाई. हॉस्पिटल की सीढ़ियों तक तो पहुंच गई थी. लेकिन पाकिस्तान के कराची के उस सिविल हॉस्पिटल में कुछ जरूरी काम चल रहा था. किसी की जान से ज्यादा 'जरूरी' काम. बिलावल भुट्टो की सिक्योरिटी का काम.
बिलावल को हॉस्पिल के ट्रॉमा सेंटर का उद्घाटन करना था. इसलिए सब लग गए सिक्योरिटी में. हॉस्पिल में किसी को घुसने नहीं दिया गया. बिस्मा के अब्बा फैसल ने कोशिशें कीं. पर नाकाम रहे.
वजह बताई गई कि बेनजीर भुट्टो के नाम पर ट्रॉमा सेंटर का उद्घाटन हो रहा है, बिलावल के हाथों. उनको जान का खतरा है, इसलिए नो एंट्री. बिलावल के साथ सिंध के सीएम अली शाह भी साथ थे. मुख्यमंत्री साहेब ने अब जांच के आदेश दे दिए हैं.
क्या बोले, बिस्मा के अब्बा?
https://www.youtube.com/watch?v=GdXMFJ0p-qE
फैसल की बांहों में नन्ही बिस्मा जब डॉक्टरों के पास पहुंची, तब तक देर हो चुकी थी. डॉक्टरों ने कहा, कुछ देर पहले आते तो जान बच जाती बिटिया की. फैसल के चेहरे की घबराहट मातम में बदल गई. इस बात को लेकर ट्विटर समेत पाकिस्तानी आवाम के बीच गुस्सा दिखा. बिलावल भुट्टो ने भी ट्वीट किया. दुख जताया. पर नन्ही बिस्मा अब इस दुनिया में नहीं है.
https://twitter.com/BBhuttoZardari/status/679638559779893248
ट्विटर पर ये दुखद बात #BilawalInfantKiller ट्रेंड में रहा. लोगों का गुस्सा दिखा..
https://twitter.com/DurraniAliya/status/679711247437303808
https://twitter.com/HeySehrish/status/679692806546395136
https://twitter.com/BasitShuja/status/679686089569898496
https://twitter.com/IamArsalanShah/status/679679396635107329
https://twitter.com/AsmatMallick/status/679642565822562304