मोदी बोले, 'मुगलों के राज में पुर्तगाल के अधीन हुआ था गोवा', जानकारों ने कहा- कृपया इतिहास पढ़ें!
इतिहास पर फिर गड़बड़ बोल गए पीएम मोदी.
गोवा एक ऐसे समय में पुर्तगाल के अधीन हो गया था जब देश के दूसरे बड़े भूभाग में मुगलों की सल्तनत थी. उसके बाद कितने ही सियासी तूफान इस देश ने देखे, सत्ताओं की कितनी उठक-पटक हुई, लेकिन समय और सत्ताओं की उठक-पटक के बीच सदियों की दूरियों के बाद भी न गोवा अपनी भारतीयता को भूला और न भारत अपने गोवा को भूला. ये एक ऐसा रिश्ता है जो समय के साथ और सशक्त हुआ है.पीएम मोदी के भाषण के इस अंश को PMO ने भी ट्वीट किया है.
गोवा एक ऐसे समय में पुर्तगाल के अधीन गया था जब देश के दूसरे बड़े भूभाग में मुगलों की सल्तनत थी।
उसके बाद कितने ही सियासी तूफान इस देश ने देखे, सत्ताओं की कितनी उठक पटक हुई: PM @narendramodi — PMO India (@PMOIndia) December 19, 2021
बयान पर उठे सवाल
इतिहास को लेकर पीएम नरेंद्र मोदी के बयानों पर सवाल उठना नई बात नहीं है. इस बार भी ऐसा हुआ है. पीएम मोदी ने अपने भाषण में कहा कि गोवा ऐसे समय में पुर्तगाल के अधीन गया था जब देश के दूसरे बड़े भूभाग में मुगलों की सल्तनत थी. लेकिन उनके इस दावे पर डलहौजी यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर निसिम मन्नाथुकरेन ने सवाल उठाए हैं. उन्होंने ट्वीट किया,नहीं, गोवा ऐसे समय में पुर्तगाल के अधीन नहीं गया था जब देश के दूसरे भाग में मुगलों की सल्तनत थी. 1510 में भारत में मुगल नहीं थे. कृपया इतिहास पढ़ें, एंटायर पॉलिटिकल साइंस नहीं.
मोदी के बयान पर प्रोफेसर निसिम मन्नाथुकरेन ने अपनी बात रखी तो कई लोग प्रतिक्रिया देने आ गए. इनमें से कइयों ने पीएम के दावे पर हैरानी जताई है. सुदीप के गोस्वामी नाम के यूजर ने लिखा,No, Goa did not come under the Portuguese when Mughals were ruling parts of India.
There were no Mughals in India in 1510. Please read History and not Entire Political Science. pic.twitter.com/Iasglj9jSH — Nissim Mannathukkaren (@nmannathukkaren) December 20, 2021
पुर्तगालियों ने 1505 में बीजापुर के आदिल शाह से गोवा के लिए लड़ाई लड़ी. बाबर तब भी फरगना में था. 1505-1961 तक गोवा पर पुर्तगालियों का शासन था. मुझे नहीं पता कि मुगलों को बेवजह हर जगह क्यों घसीटा जाता है. ऐसा लगता है कि इस झुंड ने पूरी तरह से स्कूल में पढ़ाई छोड़ दी.
वहीं राइटर वी कृष्णा अनंत ने लिखा,Portuguese wrestled Goa from Adil Shah of Bijapur in 1505. Babur was still in Fergana then. From 1505-1961, Goa was administered by Portuguese. I don’t know why Mughals are needlessly inserted everywhere. Seems like this bunch skipped studies entirely in school
— Sudiip K Goswami (@SKG_Dell) December 20, 2021
पता होना चाहिए कि मुगल 1510 से कम से कम 15 साल बाद भारत आए थे. अगर बाबरी मस्जिद के निर्माण की तारीख (1527) ली गई थी... या अगर पानीपत की पहली लड़ाई (1526) को मानक मानें, इतिहास इसी के बारे में होता है... तथ्य पवित्र होते हैं.
इतिहासकारों के मुताबिक 1526 में बाबर ने इब्राहिम लोदी को पानीपत की पहली लड़ाई में हराया और मुग़ल सल्तनत की नींव रखी. इस लड़ाई में बाबर ने जहां तोपों का इस्तेमाल किया वहीं लोदी ने हाथियों की परंपरागत ताकत के दम पर जंग लड़ी. लेकिन बाबर की सेना लोदी की सेना पर भारी पड़ी. इस लड़ाई में लोदी मारा गया और भारत में मुगल साम्राज्य की नींव पड़ी. जबकि गोवा में पुर्तगालियों ने 1510 से शासन करना शुरू कर दिया था. इसके 451 सालों बाद 19 दिसंबर 1961 को गोवा को आज़ादी मिली.Should have known that Moghuls came in at least 15 years later than 1510 if the date of the building of the Babri Masjid (1527) was taken ... or if the year of the First Battle of Panipat (1526) was taken as a marker. Alas, that's what history is about... facts are sacrosanct.
— V. Krishna Ananth (@VKrishnaAnanth) December 20, 2021