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कंगाली में आटा गीला... PIA बेचने की जुगाड़ में था पाकिस्तान, बोली लगाने वाली कंपनी ही चलती बनी

Pakistan Airlines Privatisation: शहबाज शरीफ सरकार, पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस (PIA) का 75 फीसदी हिस्सा बेच रही है. इसके लिए कंपनियों से बोलियां मंगाई गई थीं. प्रमुख कंपनी ने एकदम अंतिम समय पर नाम वापस ले लिया. अब तीन बिडर दौड़ में हैं.

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pakistan PIA privatization plan took hit after company withdraw bid in last moment
पाकिस्तान इंटरनेशन एयरलाइन में 75 फीसदी हिस्सा बेचना चाहती है सरकार. (Photo: ITG/Reuters)
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सचिन कुमार पांडे
22 दिसंबर 2025 (Updated: 22 दिसंबर 2025, 01:57 PM IST)
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पाकिस्तान अपनी एयरलाइन को प्राइवेटाइज करना चाह रहा है. इसके तहत सरकार अपनी हिस्सेदारी बेचना चाहती है, लेकिन बोली लगाने वाली कंपनी ने लास्ट डेट से ठीक पहले अपना नाम ही वापस ले लिया. यानी कंगाल पाकिस्तान को उसकी एयरलाइन बेचने के लिए ठीक से खरीदार भी नहीं मिल रहे हैं. हालांकि तीन बोली लगाने वाली कंपनियां अब भी दौड़ में हैं, लेकिन चौथी कंपनी के नाम वापस लेने से सरकार के अरमानों को तगड़ा झटका लगा है.

न्यूज एजेंसी एएनआई के अनुसार पाक सरकार पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस (PIA) का 75 फीसदी हिस्सा बेच रही है. इसके लिए कंपनियों से बोलियां मंगाई गई थीं. जो यह बोली में सफल होगा, उसे पाकिस्तान सरकार के पास मौजूद बाकी 25 फीसदी शेयर खरीदने का भी मौका दिया जाएगा. इसके लिए बिडर के पास 90 दिन का वक्त होगा.

नहीं जमा किया बुकिंग अमाउंट

एएनआई के मुताबिक एयरलाइन के लिए चार खरीदारों ने बोली लगाई. इनमें से फौजी फर्टिलाइजर नाम की कंपनी, जो कि एक प्रमुख बिडर (बोली लगाने वाली) थी, ने ऐन वक्त पर अपना नाम वापस ले लिया. शनिवार, 20 दिसंबर को बोली जमा करने की लास्ट डेट थी. इस दिन तक कंपनी ने बोली कंफर्म करने के लिए अर्नेस्ट मनी यानी टोकन अमाउंट ही जमा नहीं किया. फिर सरकार को बोली से अपना नाम वापस लेने के फैसले की जानकारी दी.

प्राइवेटाइजेशन कमीशन के अधिकारियों के मुताबिक तीन बिडर अब भी रेस में बने हुए हैं. इसके अलावा फौजी फर्टिलाइजर के पास भी यह सहूलियत होगी कि वह बाद में किसी सफल कंसोर्टियम में शामिल हो सके. एएनआई ने पाकिस्तानी मीडिया के हवाले से बताया कि बोली प्रक्रिया के तहत सबसे पहले सीलबंद लिफाफों में बोलियां ली जाएंगी. इसके बाद प्राइवेटाइजेशन कमीशन बोर्ड और प्राइवेटाइजेशन पर कैबिनेट कमेटी द्वारा मंजूरी दी जाएगी. फिर सार्वजनिक रूप से बोलियों के बारे में बताया जाएगा.

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सरकार ने कर्मचारियों से किया वादा

प्राइवेटाइजेशन के तहत सरकार ने एयरलाइन के कर्मचारियों को वादा किया है कि उनकी नौकरी एक साल तक सुरक्षित रहेगी. वहीं पूर्व कर्मचारियों के पेंशन और रिटायरमेंट की व्यवस्था भी होल्डिंग कंपनी करेगी. पाकिस्तानी मीडिया रिपोर्ट्स में अधिकारियों के हवाले से बताया गया है कि एयरलाइन अभी 78 रूट पर ऑपरेट करती है और उसके पास लगभग 170 इंटरनेशनल लैंडिंग स्लॉट है. लेकिन उसे अपने ऑपरेशंस को फिर से शुरू करने के लिए तुरंत नए इन्वेस्टमेंट और प्रोफेशनल मैनेजमेंट की जरूरत है.

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