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ट्रंप ने किया G20 समिट का बहिष्कार, बोले- 'यहां से कोई नहीं जाएगा', दक्षिण अफ्रीका से नाराज क्यों?

Donald Trump On G20 Summit: ट्रंप ने इससे पहले ऐलान किया था कि वह खुद 22-23 नवंबर को होने वाले G20 सम्मेलन में हिस्सा नहीं लेंगे. उनकी जगह उपराष्ट्रपति जे.डी. वेंस के शामिल होने की उम्मीद थी. लेकिन अब वह भी खत्म हो गई है.

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Donald Trump Not Attend G20 Summit South Africa, Alleged Govt For Discrimination Against White Farmers
अमेरिका के राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप. (फाइल फोटो)
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रिदम कुमार
8 नवंबर 2025 (Published: 07:02 AM IST)
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राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप दक्षिण अफ्रीका में श्वेत किसानों से हो रहे भेदभाव और हिंसा पर भड़क उठे हैं. उन्होंने शुक्रवार 7 नवंबर को ऐलान किया कि कोई भी अमेरिकी अधिकारी इस महीने के आखिर में दक्षिण अफ्रीका में होने वाले G20 शिखर सम्मेलन में हिस्सा नहीं लेगा. उन्होंने दक्षिण अफ्रीका में श्वेत किसानों के साथ हो रहे व्यवहार पर चिंता जताते हुए इसे ‘बेहद शर्मनाक’ बताया है.

उपराष्ट्रपति वेंस भी नहीं जाएंगे!

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, ट्रंप ने इससे पहले ऐलान किया था कि वह खुद 22-23 नवंबर को होने वाले G20 सम्मेलन में हिस्सा नहीं लेंगे. उनकी जगह उपराष्ट्रपति जे. डी. वेंस के शामिल होने की उम्मीद थी. लेकिन वेंस से जुड़े एक करीबी शख्स ने नाम न छापने की शर्त पर न्यूज एजेंसी एसोसिएटेड प्रेस को बताया कि वह भी अब शिखर सम्मेलन के लिए दक्षिण अफ्रीका नहीं जाएंगे.

ट्रंप ने क्या कहा?

ट्रंप ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ट्रुथ पर लिखा, 

“यह पूरी तरह से शर्मनाक है कि G20 दक्षिण अफ्रीका में आयोजित होगा. अफ्रीकी - डच, फ्रांसीसी और जर्मन प्रवासियों के वंशज, मारे जा रहे हैं और उनकी जमीन और खेतों को अवैध रूप से जब्त किया जा रहा है.”

Trump Post
ट्रंप को पोस्ट.

उन्होंने आगे कहा, 

“जब तक मानवाधिकारों का हनन जारी रहेगा, कोई भी अमेरिकी सरकारी अधिकारी इसमें शामिल नहीं होगा. मैं मियामी, फ्लोरिडा में 2026 के G20 सम्मेलन की मेजबानी करने के लिए उत्सुक हूं.”

क्या है पूरा मामला? 

दरअसल, अफ्रीकानर, डच उपनिवेशवादियों के वंशज हैं. इन्होंने दक्षिण अफ्रीका पर अपार्थाइड सिस्टम के तहत राज किया था. इस व्यवस्था में नस्ल और रंग के आधार पर भेदभाव किया जाता था. उन्हें बुनियादी अधिकारों से वंचित रखा जाता था. यह प्रणाली 1994 में खत्म हुई.

अब कई श्वेत दक्षिण अफ्रीकी लोगों का कहना है कि इस साल बने नए कानून के तहत उन्हें अन्यायपूर्ण तरीके से निशाना बनाया जा रहा है. इस कानून से सरकार जनहित के लिए कुछ मामलों में बिना मुआवजा दिए जमीन या संपत्ति जब्त कर सकती है.

क्यों नाराज हैं ट्रंप?

ट्रंप प्रशासन ने इसे लेकर ही दक्षिण अफ्रीकी सरकार की बार-बार आलोचना की है. आरोप है कि साउथ अफ्रीका की सरकार अल्पसंख्यक श्वेत किसानों के खिलाफ भेदभाव और हिंसा की अनुमति देती है. इस साल की शुरुआत में ट्रंप प्रशासन ने ऐलान किया था कि वह अपने 7,500 शरणार्थियों की वार्षिक संख्या में भारी कटौती के बाद श्वेत दक्षिण अफ्रीकियों को प्राथमिकता देगा.

साउथ अफ्रीका ने आरोप खारिज किए

दक्षिण अफ्रीकी अधिकारियों ने ट्रंप के दावों को खारिज किया है. उनका कहना है कि रंगभेद की समाप्ति के तीन दशक से भी ज्यादा समय के बाद भी श्वेत नागरिक ज्यादातर अश्वेत दक्षिण अफ्रीकियों की तुलना में बेहतर जीवन जी रहे हैं. राष्ट्रपति सिरिल रामफोसा ने कहा है कि उन्होंने ट्रंप को बताया कि श्वेत किसानों के व्यवस्थित उत्पीड़न की खबरें पूरी तरह से झूठी हैं.

G20 क्या है? 

G20 में दुनिया की 19 सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाएं, यूरोपीय संघ और अफ्रीकी संघ शामिल हैं. इसका मकसद दुनिया की अर्थव्यवस्थाओं के बीच सहयोग बढ़ाना है ताकि सबके आर्थिक हित आगे बढ़ सकें.

वीडियो: क्या पाकिस्तान सच में कर रहा न्यूक्लियर टेस्ट, ट्रंप के दावे में कितनी सच्चाई?

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