बदरुद्दीन अजमल के बयान पर CM हिमंता बोले- 'अभी शादी कर लें, चुनाव के बाद किया तो जेल भेज देंगे'
हिमंता सरमा ने कटाक्ष करते हुए कहा कि ‘अगर धुबरी सांसद दोबारा शादी करना चाहते हैं तो उन्हें चुनाव से पहले ऐसा करना चाहिए नहीं तो फिर उन्हें गिरफ्तारी के लिए तैयार रहना चाहिए’
असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने AIUDF चीफ बदरुद्दीन अजमल के शादी करने वाले बयान पर पलटवार किया है. हिमंता सरमा ने कटाक्ष करते हुए कहा कि ‘अगर धुबरी सांसद दोबारा शादी करना चाहते हैं तो उन्हें चुनाव से पहले ऐसा करना चाहिए नहीं तो फिर उन्हें गिरफ्तारी के लिए तैयार रहना चाहिए’. बदरुद्दीन अजमल असम के एआईयूडीएफ के चीफ और धुबरी लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र से सांसद भी हैं.
बदरुद्दीन अजमल, धुबरी से फिर से चुनाव लड़ रहे हैं. उन्होंने ने एक कार्यक्रम में कहा, "कांग्रेस के लोग और रकीबुल हुसैन (कांग्रेस पार्टी से उनके प्रतिद्वंद्वी) ने कहा कि मैं बूढ़ा हो गया हूं लेकिन मेरे पास अभी भी इतनी ताकत है कि मैं शादी कर सकता हूं. यदि मुख्यमंत्री न चाहें तो भी मैं ऐसा कर सकता हूं, मेरे पास इतनी हिम्मत है."
इसके जवाब में 30 मार्च को असम के मुख्यमंत्री ने कहा,
"उन्हें अब शादी कर लेनी चाहिए. चुनाव के बाद, असम में समान नागरिक संहिता लागू हो जाएगी. अगर वह उसके बाद शादी करते हैं तो उन्हें गिरफ्तार कर लिया जाएगा. अगर उन्होंने हमें न्योता दिया तो हम भी जाएंगे क्योंकि अभी ऐसा करना गैरकानूनी नहीं है. हालांकि, जहां तक मुझे पता है तो उनकी एक पत्नी है. वह चाहे तों दूसरी या फिर तीसरी बार भी शादी कर सकते हैं लेकिन चुनाव के बाद हम बहुविवाह पर रोक लगा देंगे. इसका ड्राफ्ट भी तैयार है.”
28 मार्च को बदरुद्दीन अजमल ने अपनी उम्र के बावजूद शादी के लिए अपनी पात्रता पर जोर देते हुए विवादास्पद टिप्पणी की थी. जिसमें कहा था कि ‘आज भी मैं शादी करने के लिए युवा हूं. मुझमें ताकत है और मैं दोबारा शादी कर सकता हूं.’ अजमल इस समय 74 वर्ष के हैं.
क्या है यूसीसी?यूनिफॉर्म सिविल कोड (UCC)कानून में देश के रहने वाले सभी नागरिकों (हर धर्म, जाति, लिंग के लोग) के लिए एक ही कानून है. जिस राज्य में लागू होगा वहां विवाह, बच्चा गोद लेना और संपत्ति बंटवारे जैसे तमाम विषयों में हर नागरिकों के लिए एक समान कानून होगा.
उत्तराखंड सरकार की ओर से समान नागरिक संहिता यानी यूनिफॉर्म सिविल कोड 2024 का नोटिफिकेशन जारी किया जा चुका है. इसके साथ UCC लागू करने वाला उत्तराखंड देश का पहला राज्य भी बन गया है. राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से मंजूरी मिलने के बाद इस कानून को नोटिफिकेशन जारी किया जा चुका है.
वीडियो: असम चुनाव: बदरुद्दीन अजमल ने हिमंता बिस्वा सरमा को मुख्यमंत्री बनाने की बात क्यों कही?