9 जून. यानी जल, जंगल और जमीन के लिए आंदोलन करने वाले बिरसा मुंडा की बरसी से ठीकएक दिन पहले झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन एक ट्वीट करते हैं. ट्वीट का सार ये था किझारखंड की सरकार ने तो सरना धर्म कोड बिल पास कर दिया. लेकिन केंद्र सरकार नहीं कररही. सीधे शब्दों में कहें तो जैसे हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाइ और दूसरे धर्म होतेहैं वैसे एक और 'सरना' धर्म की मांग हो रही है. अब सवाल है कि जरूरत क्या है कि एकनए धर्म की? और कौन हैं वो लोग जो सरना धर्म मानते हैं? इसका आंदोलन कब से चल रहाहै? इस पर राजनीतिक दलों की क्या प्रतिक्रियाएं रही हैं? इन सारे सवालों के जवाबहमने तलाशने की कोशिश की है इस रिपोर्ट में.