आजादी के दौरान किसान ही भारत की रीढ़ थे. लेकिन खेती के काम में कुछ भी निश्चितनहीं था. फसल केवल मानसूनी बारिश पर निर्भर थी. इसके बाद खेतों तक पानी पहुंचनामुश्किल पड़ जाता था. नहरें नहीं थीं, इलाके सूखे ही रह जाते थे. अकाल पड़ता था. इसचुनौती से निपटने के लिए पंडित नेहरू ने भाखड़ा-नांगल डैम बनाने का फैसला लिया. आजतारीख में इसी डैम के बनने की कहानी. देखें वीडियो.