पिछले 24 सालों से एलिज़ाबेथ ने तपस्वी का जीवन जिया. ज़्यादातर मौन व्रत में रहीं.अपनी एक कोठरी में. एक दिन उनके एक सीनियर साथी उन्हें फ्रायर रॉबर्ट से मिलाने लेगए. फ्रायर रॉबर्ट ईसाई धर्म की शाखा रोमन कैथोलिक से जुड़े संन्यासी हैं. सिस्टरमैरी और उनके साथी फ्रायर रॉबर्ट से मिल रहे थे, तभी उनके साथी के पास एक फोन कॉल आगया. वो बात करने कमरे से बाहर चले गए. अब मैरी और फ्रायर रॉबर्ट कमरे में अकेले रहगए.