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अंग्रेज़ी में बस एक ही बात काम की है, वो है I Love U

प्यारी डिंपल के बेवफा डिंपल बनने की कहानी, संडे वाली चिट्ठी की जुबानी.

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26 जून 2016 (Updated: 25 जून 2016, 03:54 IST)
Updated: 25 जून 2016 03:54 IST
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दिव्य प्रकाश दुबे
दिव्य प्रकाश दुबे

संडे की बधाई हो. उससे ज्यादा छुट्टी की. उससे ज्यादा इस संडे वाली चिट्ठी की. क्योंकि आप यहां तक ये पढ़े जा रहे हो, तो हमको चिट्ठी पढ़ने में तुम इंटरेस्टेड लग रहे हो. इस बार दो संडे वाली चिट्ठी हैं. महबूब को लिखा खत भी है और उस खत के बाद जिंदगी पर क्या फर्क पड़ा, उसी से सना दूसरा खत भी. दिव्य प्रकाश दुबे ने लिखी हैं ये चिट्ठियां. पढ़िए.


 
 
सेवा में, कुमारी डिम्पल
सविनय निवेदन है कि तुम हमें बहुत प्यारी लगती हो. हम ये चिट्ठी अपने ख़ून से लिखकर देना चाहते थे लेकिन क्या करें हम सोचे कहीं तुम हमारा ख़ून देखकर डर न जाओ इसलिए नहीं लिखे.
जिस दिन तुम स्कूल नहीं आती हो, उस दिन लगता है कि स्कूल ख़तम ही नहीं होगा. हम नहीं जानते कि फ़िल्मों वाला प्यार कैसा होता है, हमें बस इतना पता है कि तुम हमें बहुत अच्छी लगती हो. इतनी अच्छी कि हम तुम्हारा हाथ पकड़कर ज़िन्दगी काट सकते हैं. हमें सपना आया था तुम्हारा कि तुमको ऊ साला गणित का मास्टरवा बांध के रख लिया है क्लास रूम में और बहुत सारा सवाल लिख दिया है बोर्ड पर.
तुम रो रही हो, चिल्ला रही हो और ऊ मास्टरवा बस हंसे जा रहा है. मास्टरवा हमसे बोल रहा है कि जब सारा सवाल हल कर लोगे, तब छोड़ेंगे. तुम जानती हो कि हमारी गणित कमज़ोर न होती तो हम तुमको उस दिन सपने में छुड़ा लिए होते. हमको इसीलिए गणित अच्छी नहीं लगती क्यूंकि हर सवाल का एक्के जवाब सही होता है.
हमें हिन्दी की कक्षा बहुत पसन्द हैं क्यूंकि हिन्दी की किताब में कविता कहानी पढ़कर लगता है कि एक दिन हम तुम्हारे लिए अपनी कॉपी के आख़िरी पन्ने पर कुछ लिखेंगे. तुम चाहे उसे कविता मान लेना चाहे कहानी, सब तुम पर है.
तुम्हें हम पहले ही बता दें, हम ये चिट्ठी अंग्रेज़ी में लिखने वाले थे. लेकिन अंग्रेज़ी भाषा में बस एक ही बात काम की है वो है आई लव यू. अंग्रेज़ी में चिट्ठी एक ही लाइन में खतम हो जाती इसलिए अंग्रेज़ी में नहीं लिखे. हम मन ही मन आई लव यू इतनी बार दोहरा चुके हैं कि ये बात भूल चुके हैं कि कौन सी क्लास में तुमको प्यार करना शुरू किए थे.
हमें आशा है कि तुम हमारी लिखी हुई हर बात को कई कई बार पढ़ोगी और वही महसूस करोगी जैसा हम रोज़ सोने से पहले महसूस करते हैं.
कृपया अपना उत्तर जल्द से जल्द लिखना. बस एक आख़िरी बात हम गणित की ट्यूशन केवल इसलिए जाते हैं ताकि तुमको एक दिन सपने में छुड़वा पाएं.
तुम्हारा,
राम अवतार सिंह यादव
कक्षा 9th B
दिनांक 24 - 06 -2016

******
सेवा में, कुमारी डिम्पल(बेवफ़ा)
ये हमारी आख़िरी चिट्ठी है. हमें स्कूल से निकाल दिया गया है. तुम्हें हमारी शिकायत गणित के मास्टर साब श्री साधू राम शर्मा जी से करने की क्या ज़रूरत थी. हम तुम्हारी याद में अब पूरी ज़िन्दगी में कभी किसी से प्यार नहीं करेंगे.
खुदाया इश्क़ हो तुमको, एक दिन चोट तुम खाओ, उस दिन जाके के शायद तुम, मेरे जज़्बात समझ पाओ,
हम तुम्हारा आख़िरी सांस तक इंतज़ार करेंगे.
तुम्हारा हो न सका,
राम अवतार सिंह यादव
कक्षा 9th B
दिनांक 26 - 06 -2016



पढ़िए ये संडे वाली चिट्ठियां…..

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