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क्यों हो जाती है शरीर में अंदरूनी सूजन, डॉक्टर ने बताया

इंफ्लेमेशन को कई बीमारियों से भी जोड़कर देखा जाता है, जैसे डायबिटीज़ , दिल की बीमारियां , अर्थराइटिस , मोटापा.

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what causes inflammation in body and how to get rid of it, doctor explains
क्या इंफ्लेमेशन वाकई में विलेन है या ये ग्रे कैरेक्टर है?
21 अक्तूबर 2025 (Published: 02:51 PM IST)
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विद्या बालन ने साल 2024 में एक इंटरव्यू दिया था. उसमें उन्होंने बताया था कि वो पूरी ज़िंदगी वेट लॉस करने के लिए स्ट्रगल करती रहीं. वज़न घटाने के लिए खूब डाइट की. एक्सरसाइज़ की. लेकिन, कुछ ख़ास फ़ायदा नहीं हुआ. वज़न बढ़ता रहा.  कुछ समय पहले उन्हें पता चला कि, जिसे वो वज़न का बढ़ना समझ रही थीं, दरअसल वो इंफ्लेमेशन था.

Vidya Balan Biography: Age, Family, Career & More
विद्या बालन

हाल-फ़िलहाल में एक्ट्रेस और मॉडल नेहा धूपिया की एक रील खूब वायरल हुई.

इसमें वो 21 दिनों के एक चैलेंज की बात कर रही थीं. चैलेंज का मकसद-21 दिनों के लिए एंटी-इंफ्लेमेट्री डाइट करना, ताकि इंफ्लेमेशन को कम किया जा सके.

इंफ्लेमेशन को कई बीमारियों से भी जोड़कर देखा जाता है. जैसे डायबिटीज़ , दिल की बीमारियां , अर्थराइटिस , मोटापा वगैरह. इसलिए लोग एंटी-इंफ्लेमेट्री डाइट करते हैं. ऐसी चीज़ें खाते हैं, जिससे शरीर की अंदरूनी सूजन घट जाए.

लेकिन क्या इंफ्लेमेशन वाकई में विलेन है. या ये ग्रे कैरेक्टर है? आज डॉक्टर से जानेंगे. साथ ही समझेंगे शरीर में इंफ्लेमेशन होने का क्या मतलब है. ये किन-किन वजहों से होता है. इंफ्लेमेशन होना अच्छा है या नुकसानदेह? अगर अच्छा है तो कब. और नुकसानदेह है तो कब?  इसके लक्षण क्या हैं. और, शरीर की इंफ्लेमेशन घटाने के लिए क्या करें.

शरीर में इंफ्लेमेशन होने का क्या मतलब होता है?

ये हमें बताया डॉ. सुधीर कल्हण ने.

Dr. Sudhir Kumar Kalhan, Minimal Access & Bariatric Surgery Centre
डॉ. सुधीर कल्हण, चेयरमैन, आईएमएएस, सर गंगा राम हॉस्पिटल, नई दिल्ली

इंफ्लेमेशन किसी चोट पर शरीर की नेचुरल प्रतिक्रिया है. ये चोट बाहरी भी हो सकती है और अंदरूनी भी. इंफ्लेमेशन शरीर का एक रिएक्शन है, जिसमें शरीर के सेल्स उस चोट को रोकने की कोशिश करते हैं.

इंफ्लेमेशन होना अच्छा है या नुकसानदेह?

इंफ्लेमेशन शरीर का डिफेंस सिस्टम है. एक्यूट इंफ्लेमेशन (अचानक और कम समय के लिए) चोट को बढ़ने से रोकता है. लेकिन जब इंफ्लेमेशन क्रोनिक बन जाता है यानी लंबे वक्त तक रहता है, तब ये शरीर में कई तरह के बदलाव पैदा कर सकता है. इससे शरीर के हर अंग पर असर पड़ सकता है. अगर पैनक्रियाज़ में सूजन होगी, तो डायबिटीज़ हो सकती है. अगर फेफड़ों में सूजन होगी, तो वो कमज़ोर हो सकते हैं. इसी तरह दिल, वेन्स (नसों) और नर्व्स (तंत्रिकाओं) पर भी बुरा असर पड़ता है. एक्यूट इंफ्लेमेशन शरीर के लिए ठीक है. लेकिन क्रोनिक इंफ्लेमेशन शरीर के लिए नुकसानदेह है.

शरीर में इंफ्लेमेशन के दूसरे कारण

- रिफाइंड शुगर एक तरह का ज़हर है

- अगर इसे कम नहीं किया गया, तो ये भी शरीर में इंफ्लेमेशन बढ़ा सकती है

- ऐसा होने पर आगे चलकर इंसुलिन रेज़िस्टेंस हो सकता है

- फास्ट फूड में बहुत सारे प्रिज़रवेटिव्स होते हैं

- ये भी शरीर में इंफ्लेमेशन पैदा करते हैं

- स्ट्रेस लेने और ठीक से न सोने पर भी शरीर में इंफ्लेमेशन बढ़ता है

- ऐसा इंफ्लेमेशन शरीर के लिए अच्छा नहीं है

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इंफ्लेमेशन शरीर का डिफेंस सिस्टम है
शरीर में इंफ्लेमेशन के लक्षण

- इंफ्लेमेशन का पहला लक्षण रेडनेस (लालिमा) है

- ऐसा इसलिए होता है क्योंकि उस जगह खून का फ्लो बढ़ जाता है

-शरीर के इम्यून सेल्स (WBCs और प्लेटलेट्स) वहां पहुंच जाते हैं

- फिर ये सेल्स हानिकारक बैक्टीरिया को पकड़कर नष्ट कर देते हैं

- इससे इंफ्लेमेशन धीरे-धीरे कम होने लगता है

- दूसरा लक्षण है गर्मी महसूस होना

- उस जगह को छूकर देखें, वो थोड़ी गर्म महसूस होगी

शरीर में इंफ्लेमेशन का इलाज

- इंफ्लेमेशन रोकने के कई तरीके हैं

- जहां सूजन है, वहां ठंडी सिकाई करें, ताकि इंफ्लेमेशन न बढ़े

- एंटी-इंफ्लेमेट्री दवाइयां दी जा सकती हैं

- ये दर्द कम करती हैं और सूजन को रोकती हैं

- अगर क्रोनिक इंफ्लेमेशन कम करना है, तो अच्छी बैलेंस्ड डाइट लें

- खाने में शुगर कम करें, इससे इंफ्लेमेशन घटेगा और इंसुलिन रेज़िस्टेंस भी कम होगा

- ऐसा करने से डायबिटीज़ का ख़तरा भी घट जाएगा

- एक्सरसाइज़ करना बहुत ज़रूरी है, क्योंकि आजकल लोगों की लाइफस्टाइल बहुत सुस्त हो गई है

- इसलिए रोज़ थोड़ी देर सैर करें

- अपना वज़न कम करें

- इससे इंफ्लेमेशन का रिस्क घटता है

- जिन लोगों को मोटापा (ओबेसिटी) है, उनके शरीर में लगातार इंफ्लेमेशन बना रहता है

- आगे चलकर उन्हें तरह-तरह की बीमारियां हो सकती हैं

- जैसे डायबिटीज़, बीपी, दिल की बीमारियां और जोड़ों की दिक्कतें  

- इसलिए, हेल्दी खाना खाइए

- अपना वज़न कंट्रोल में रखिए

- एक्सरसाइज़ करिए

- सबसे ज़रूरी, अच्छी नींद लीजिए

अब समझे इंफ्लेमेशन क्या होता है. आजकल सोशल मीडिया पर इंफ्लेमेशन  के खूब चर्चे हैं.  इसे समझना सेहत के लिए बेहद ज़रूरी है. 

(यहां बताई गई बातें, इलाज के तरीके और खुराक की जो सलाह दी जाती है, वो विशेषज्ञों के अनुभव पर आधारित है. किसी भी सलाह को अमल में लाने से पहले अपने डॉक्टर से ज़रूर पूछें. दी लल्लनटॉप आपको अपने आप दवाइयां लेने की सलाह नहीं देता.)

वीडियो: सेहत: शरीर की अंदरूनी सूजन ऐसे घटाएं

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