OLA–UBER का अंत? अब आने वाली है ‘भारत टैक्सी’, ड्राइवर भी मालिक, किराया भी तय
‘भारत टैक्सी’ (Bharat Taxi) का पायलट प्रोजेक्ट सबसे पहले नवंबर में दिल्ली से शुरू होगा. 650 ड्राइवरों के साथ इसके पहले फेज का गियर लगेगा जिसमें महिला ‘सारथी’ भी होंगी. इसके बाद दिसंबर से देश के बाकी राज्यों में इसका विस्तार होगा. चलिए फिर सवारी पर निकलते हैं.

OLA-UBER की बदबू मारती टैक्सियों से शायद छुटकारा मिलने का समय आ गया है. प्राइवेट कैब के बदतमीजी करते ड्राइवरों से मुक्ति मिलने का शायद टाइम आ गया है. किराये के नाम पर दुनिया भर के चार्जेस लगाकर लूटने वाली निजी कैब को टाटा कहने का शायद टाइम आ गया है. इन सारे शायद को यहीं विराम देते हैं और बताते हैं कि निश्चित तौर पर क्या होने वाला है. दरअसल देश की पहली सहकारी टैक्सी सेवा Bharat Taxi स्टार्ट होने वाली है.
‘भारत टैक्सी’ का पायलट प्रोजेक्ट सबसे पहले नवंबर में दिल्ली से शुरू होगा. 650 ड्राइवरों के साथ इसके पहले फेज का गियर लगेगा जिसमें महिला ‘सारथी’ भी होंगी. इसके बाद दिसंबर से देश के बाकी राज्यों में इसका विस्तार होगा. चलिए फिर सवारी पर निकलते हैं.
राष्ट्रीय सहकारी राइड हेलिंग प्लेटफार्म‘भारत टैक्सी’ एक सरकारी कैब सर्विस है जिसे सहकारिता मंत्रालय और राष्ट्रीय ई-गवर्नेंस डिवीजन ने तैयार किया है. इसमें ड्राइवर के पास भी मालिकाना हक होगा. इसके लिए सहकार टैक्सी कोऑपरेटिव लिमिटेड के साथ बीते दिनों साझेदारी भी हो चुकी है. यह सदस्यता आधारित मॉडल है, जिसे सहकार टैक्सी कोऑपरेटिव लिमिटेड चलाएगा. एकदम वैसे जैसे अमूल काम करता है. इसकी स्थापना जून में 300 करोड़ की रकम के साथ हुई है.
अमूल का नाम हमने बस यूं ही नहीं लिखा क्योंकि इसकी संचालन समिति के चेयरमैन अमूल के एमडी जयेन मेहता हैं. एनसीडीसी के उप प्रबंधक निदेशक रोहित गुप्ता वाइस चेयरमैन हैं. भारत टैक्सी का ऐप नवंबर से डाउनलोड कर सकेंगे. पहले-पहल ऐप हिंदी, गुजराती, मराठी और अंग्रेजी में होगा. दिसंबर से मार्च 2026 तक राजकोट, मुंबई, पुणे में सर्विस स्टार्ट हो जाएगी. अप्रैल से दिसंबर के बीच लखनऊ, भोपाल, जयपुर में शुरुआत होगी. 2027-28 में 20 शहरों में और 2028-2030 के बीच जिला मुख्यालयों, गांवों तक इसको बढ़ाया जाएगा. मोटा-माटी जानकारी के बाद अब जानते हैं कि यूजर को क्या मिलेगा.
# डायनामिक प्राइसिंग, पीक प्राइसिंग, बारिश प्राइसिंग, ठंड प्राइसिंग, गर्मी प्राइसिंग, गाड़ी नहीं है प्राइसिंग जैसी चीजों से मुक्ति मिलेगी. फिक्स और वाजिब किराया होगा.
# कैब सेफ़्टी एक बड़ा मुद्दा है इसलिए ‘भारत टैक्सी’ में पुलिस थानों से इंटीग्रेशन, डिस्ट्रेस बटन भी मिलेगा. माने मुसीबत में लाल बटन दबाने पर नजदीकी थाने को पता चलेगा.
# ड्राइवरों से कमीशन की जगह सदस्यता शुल्क लिया जाएगा. हर राइड की 100 फीसदी कमाई ड्राइवर को मिलेगी. उसे सिर्फ दैनिक, साप्ताहिक या मासिक शुल्क देना होगा.
# महिला ‘सारथी’ यानी महिला ड्राइवर्स भी इससे जुड़ेंगी. पहले चरण में 100 महिलाएं जुड़ेंगी. साल 2030 तक इनकी संख्या 15 हजार हो जाएगी.
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