The Lallantop
Advertisement

जिन लड़कियों को कोविड-19 हुआ, उनके पीरियड्स पर ऐसा असर पड़ा है

कुछ लड़कियों की कहानियां विचलित करने वाली हैं.

Advertisement
Img The Lallantop
पीरियड्स साइकिल को महिलाओं के स्वास्थ्य का अहम पहलू माना जाता है. (प्रतीकात्मक चित्र)
pic
मुरारी
28 दिसंबर 2020 (Updated: 28 दिसंबर 2020, 02:18 PM IST) कॉमेंट्स
font-size
Small
Medium
Large
font-size
Small
Medium
Large
whatsapp share
27 वर्ष की आकांक्षा ठाकुर पेशे से मीडियाकर्मी हैं. वे पिछले महीने कोरोना वायरस से संक्रमित हुई थीं. फिलहाल वे इस बीमारी से उबर चुकी हैं. लेकिन, उन्हें अपने पीरियड साइकिल में कुछ बदलाव महसूस हुए हैं. बकौल आकांक्षा-
"मुझे पीसीओडी है. इस वजह से मुझे चालीस दिनों के अंतराल पर पीरियड्स होते हैं. इस बार जब मैं कोविड 19 से उबरने के अंतिम दौर में थी, तब मुझे पीरियड्स हुए थे. इसके 18 से 20 दिनों के बाद फिर से मुझे पीरियड्स शुरू हो गए. इस बार खून के फ्लो और टेक्सचर में भी अंतर था. खून के थक्के भी जम रहे थे."
आकांक्षा ने आगे बताया-
"कोरोना वायरस से उबरने के बाद शुरू हुए पीरियड्स अलग तरह के थे. इस बार प्रीमेनस्ट्रूअल सिन्ड्रोम भी अधिक महसूस हुआ. यूरिनल इनफेक्शन भी हो गया. डॉक्टर से बात करने पर पता चला कि यह कोविड 19 की वजह से हो सकता है."
यह केवल आकांक्षा का अनुभव नहीं है. ना केवल भारत बल्कि पूरी दुनिया में तमाम महिलाएं कोरोना वायरस बीमारी से उबरने के बाद अपने पीरियड्स में तरह-तरह की अनियमितताएं महसूस कर रही हैं. किसी की पीरियड साइकल बिगड़ गई है, किसी को पहले से कहीं अधिक दर्द हो रहा है, कोई खून का थक्के बनने से परेशान है, तो किसी को अधिक चिड़चिड़ेपन ने घेर लिया है. 25 साल की रीमा (बदला हुआ नाम) बताती हैं-

"कोविड 19 से उबरने के दो सप्ताह बाद मुझे पीरियड्स होने थे. लेकिन पीरियड्स नहीं हुए. मुझे लगा कि मैं बीमारी से उबरी हूं, शायद इसलिए ऐसा हुआ हो और अगले महीने पीरियड्स हो जाएंगे. अगले महीने भी पीरियड्स नहीं हुए. कोविड 19 से उबरने के पांच महीने के बाद मुझे बस तीन बार ही पीरियड्स आए हैं. खून में भी थक्के जम रहे हैं."

क्या कहते हैं मेडिकल एक्सपर्ट? हमने इस संबंध में कुछ मेडिकल एक्सपर्ट से बात की. अपोलो अस्पताल की डॉक्टर लवलीना नादिर बताती हैं कि पीरियड्स में परेशानी की मुख्य वजह वायरस नहीं, बल्कि महामारी के कारण पैदा हुए तनाव है. डॉक्टर नादिर बताती हैं कि कोविड 19 ने सबको स्ट्रेस दिया है. लोग घरों में कैद हैं. एक दूसरे से ज्यादा मिल नहीं पा रहे हैं. मानसिक तनाव से जूझ रहे हैं. शारीरिक गतिविधि भी थम सी गई है. इन सबकी वजह से महिलाओं के पीरियड्स साइकिल पर असर पड़ता है. हमने उनसे यह पूछा कि कई महिलाएं पीरियड्स में खून थक्के जमने की शिकायत कर रही हैं. कई रिसर्च में सामने आया है कि कोरोना वायरस के कारण खून के थक्के जम रहे हैं. ऐसे में क्या यह माना जा सकता है कि वायरस पीरियड्स पर असर डाल रहा है. इस सवाल के जवाब में डॉ. नादिर ने कहा कि हो सकता है कि वायरस केवल खून के थक्के ही जमा रहा हो. इसका पीरियड्स की प्रक्रिया से कोई संबंध ना हो. हालांकि, जब तक ठोस सबूत नहीं मिल जाते, तब तक इस संबंध में कुछ भी कहना सही नहीं होगा. रिसर्च चल ही रही है. दूसरी तरफ डॉक्टर ध्रुप्ति डेढ़िया की राय अलग है. उनका कहना है-
"वायरस महिलाओं के ओवरी (अंडाशय) पर असर डाल रहा है. पीरियड्स की प्रक्रिया मूल रूप से ओवरी से जुड़ी हुई है. इसकी वजह से ज्यादातर महिलाएं कोरोना के दौरान और इससे उबरने के बाद भी अपने पीरियड्स में तरह-तरह के बदलाव महसूस कर रही हैं."
डॉक्टर ध्रुप्ति डेढ़िया ने यह भी बताया कि जैसे-जैसे शरीर कोविड 19 से उबरता जाता है, वैसे वैसे पीरियड्स में आईं अनियमितताएं भी ठीक होती जाती हैं.

क्या करें?

डॉक्टर ध्रुप्ति डेढ़िया के अनुसार कोविड 19 से उबरने के बाद अगर आपको अपने पीरियड्स को लेकर बहुत अधिक परेशानी महसूस हो रही है, तो तुरंत डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए. हो सकता है कि आपको कोई और बीमारी हो, जिसे कोविड 19 ने और बिगाड़ दिया हो. ऐसे में आपको तुरंत डॉक्टरी मदद की जरूरत होगी. कोरोना वायरस अपने साथ क्या-क्या बदलाव लेकर आया है, ये पहचाने जाने में अभी समय है. इसलिए फ़िलहाल अपना खान-पान बेहतर रखना न सिर्फ कोविड से सुरक्षा के लिए ज़रूरी है, बल्कि स्वस्थ पीरियड साइकल के लिए भी. इसके अलावा अपने पीरियड्स का रिकॉर्ड रखना भी बेहद ज़रूरी है.

Subscribe

to our Newsletter

NOTE: By entering your email ID, you authorise thelallantop.com to send newsletters to your email.

Advertisement