यूपी का ये सरकारी अधिकारी रिटायरमेंट से एक दिन पहले सस्पेंड, कांड ही ऐसा किया था
Unnao Chief Veterinary Officer Suspended: महावीर प्रसाद का रिटायरमेंट शुक्रवार, 31 अक्टूबर को होना था. लेकिन जिलाधिकारी की रिपोर्ट के बाद प्रशासन ने उन्हें 30 अक्टूबर को सस्पेंड कर दिया.

उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले में एक सीनियर अधिकारी को रिटायरमेंट से ठीक एक दिन पहले सस्पेंड कर दिया गया. महावीर प्रसाद जिले में मुख्य पशुचिकित्सा अधिकारी (CVO) के रूप में कार्यरत थे. 31 अक्टूबर यानी आज उनका रिटायरमेंट था. लेकिन एक दिन पहले ही अपने विभाग में पैसों की गड़बड़ी के आरोप में उन्हें निलंबित कर दिया गया.
आजतक से जुड़े सुरज सिंह की खबर के मुताबिक ये पैसा पशु चिकित्सालयों और पशु सेवा केंद्रों के कायाकल्प के लिए जारी किया गया था. आरोप है कि महावीर प्रसाद ने सामान खरीदने में ज्यादा पैसों का लेन-देन दिखाकर घपला किया.
मामला बीते साल सामने आया. उन्नाव के पशु पालन विभाग ने 13.80 लाख रुपये आवंटित किए थे. मकसद, जिले के 12 पशु चिकित्सालयों और दो पशु केंद्रो की मरम्मत, रंगाई पुताई का सामान खरीदना. लेकिन कथित तौर पर इसके लिए 10 गुना से ज्यादा के बिल के भुगतान की रसीद दिखाई गई. इसकी शिकायत पशु पालन विभाग के सचिव देवेंद्र पांडेय से की गई थी.
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इसके बाद उन्नाव जिलाधिकारी (DM) गौरांग राठी को लेटर भेजकर मामले में जांच का आदेश दिया गया. 18 जुलाई को DM ने जिला विकास अधिकारी की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय टीम गठित की. जांच के बाद टीम ने रिपोर्ट प्रशासन को भेजी गई, जिसमें भारी अनियमित्ताओं की पुष्टि हुई.
दैनिक भास्कर की खबर के मुताबिक, जांच में ये भी पता चला कि कई जगहों पर न तो फर्श की मरम्मत हुई थी और न ही खिड़कियों के शीशे बदले गए थे. ज्यादातर भवनों रंगों से पुताई भी नहीं हुई थी. जबकि भुगतान पूरा कर दिया गया था. रिपोर्ट में स्पष्ट हुआ कि कायाकल्प की आड़ में 'बजट का गलत इस्तेमाल कर सरकारी धन की हेराफेरी' की गई थी.
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