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Physics Wallah ने कश्मीर में ऐसा ऐड बनाया, FIR दर्ज हो गई, मामला क्या है?

Physics Wallah के विज्ञापन में छह महिंद्रा स्कॉर्पियो को हरी घास वाले मैदानों में दौड़ते हुए दिखाया गया है. वीडियो आने के बाद FIR दर्ज की गई है.

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 Physics Wallah ad Controversy
फिजिक्स वाला के संस्थापक और CEO अलख पांडे. (फाइल फोटो: आजतक)
4 नवंबर 2025 (Updated: 4 नवंबर 2025, 03:16 PM IST)
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ऑनलाइन एजुकेशनल प्लेटफॉर्म 'फिजिक्स वाला' (Physics Wallah) एक बार फिर सुर्खियों में है. वजह है एक विज्ञापन वीडियो, जिसके वायरल होने के बाद पुलिस ने ‘फिजिक्स वाला’ के खिलाफ FIR दर्ज कर ली है. यह वीडियो जम्मू-कश्मीर में बारामूला के गुलमर्ग इलाके में शूट किया गया. विज्ञापन में छह महिंद्रा स्कॉर्पियो को हरी घास वाले मैदानों में ड्राइविंग करते हुए दिखाया गया है. आरोप है कि इससे पेड़-पौधे और जड़ी-बूटियों को नुकसान पहुंचा है.

पूरा मामला क्या है?

इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, फिजिक्स वाला की कश्मीर ब्रांच ने अपनी पहल 'तूफान' को प्रमोट करने के लिए एक वीडियो शूट किया. यह वीडियो शूट किया गया गुलमर्ग के पास तंगमर्ग में बदरकोट जंगल में. इसके बाद 29 अक्टूबर को यूट्यूब चैनल पर एक मिनट 36 सेकंड का यह वीडियो अपलोड किया गया. 

वीडियो में बिना नंबर प्लेट की छह काली स्कॉर्पियो गाड़ियों को जंगली इलाके और हरे मैदानों से गुजरते हुए दिखाया गया. फिजिक्स वाला के फैकल्टी के लोग भी बारामूला जिले के गुलमर्ग के पास तंगमर्ग में बदरकोट के जंगलों में ऑफ रोडिंग करते दिखे. जैसे ही यह वीडियो वायरल हुआ, स्थानीय लोगों ने सवाल उठाए. घाटी की इकोलॉजी यानी पारिस्थितिकी को नुकसान पहुंचाने के आरोप लगे. 

सवाल उठे कि जो कंपनी घाटी के नाजुक इकोसिस्टम को ‘नुकसान’ पहुंचा रही है, वह छात्रों को ‘पर्यावरण सरंक्षण’ के बारे में कैसे सिखा सकती है. जिसके बाद पुलिस हरकत में आई और मामले की जांच शुरू हुई.

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रिपोर्ट के मुताबिक, गुलमर्ग के फॉरेस्ट रेंज ऑफिसर इफ्तिखार अहमद कादरी की शिकायत पर तंगमर्ग पुलिस स्टेशन में FIR दर्ज की गई. शिकायत में कहा गया कि गाड़ियां जंगली इलाके में हरी-भरी घास के मैदानों पर ऑफ-रोड चलाई गईं, जिससे जंगल की कई जड़ी-बूटियों और दूसरे पौधों को नुकसान पहुंचा. इस तरह इंडियन फॉरेस्ट एक्ट 1927 और फॉरेस्ट कंजर्वेशन एक्ट 1980 का उल्लंघन हुआ है.

शिकायत में आगे कहा गया है, "YouTube पर एक वीडियो अपलोड किया गया था जिसमें छह काली स्कॉर्पियो गाड़ियां, बिना किसी रजिस्ट्रेशन प्लेट के, फॉरेस्ट डिपार्टमेंट के किसी भी अधिकारी की इजाज़त के बिना जंगल के इलाके में अवैध रूप से घुस रही थीं. बदरकोट फॉरेस्ट ब्लॉक के फील्ड स्टाफ से वेरिफिकेशन के बाद पता चला कि यह वीडियो बदरकोट फॉरेस्ट ब्लॉक के जंगल इलाके में शूट किया गया है. 

पुलिस ने शिकायत मिलने के बाद BNS की धाराओं के तहत शरारत करने, सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने और आपराधिक अतिक्रमण के साथ-साथ इंडियन फॉरेस्ट एक्ट की धाराओं के तहत भी मामले दर्ज किए हैं

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