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'वोट चोरी' के आरोप पर चुनाव आयोग ने राहुल गांधी से 'शपथ' मांग ली, कांग्रेस नेता ने ये जवाब दिया

Rahul Gandhi Vs ECI: राहुल गांधी के आरोपों पर चुनाव आयोग ने उनसे शपथ पत्र मांगा है. राहुल ने कहा है कि वह सार्वजनिक तौर पर जो कह रहे हैं, उसे ही शपथ मान लिया जाए.

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Rahul Gandhi vs ECI
राहुल गांधी से आयोग ने शपथ पत्र मांगा है (India Today)
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राघवेंद्र शुक्ला
7 अगस्त 2025 (Published: 10:31 PM IST)
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कर्नाटक राज्य चुनाव आयोग ने राहुल गांधी के 'वोट चोरी' के दावों का जवाब दिया है. राहुल की प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद आयोग ने ‘एक्स’ पर पोस्ट करके कहा कि राहुल गांधी ने जो भी बयान दिए हैं, वे ‘भ्रामक’ हैं. उसने राहुल गांधी से अपने दावों पर ‘शपथ पत्र’ भी मांग लिया है. इस पर कांग्रेस सांसद का जवाब भी आया है.

राहुल गांधी ने चुनाव आयोग ने मांगा शपथ पत्र

दरअसल, कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने गुरुवार, 7 अगस्त को आरोप लगाया कि लोकसभा चुनाव के दौरान कर्नाटक में कई फर्जी मतदाता तैयार किए गए, जिससे 'बीजेपी को जीत हासिल करने में मदद' मिली. उन्होंने इसे साफतौर पर ‘वोटों की चोरी’ बताया. इसी पर कर्नाटक चुनाव आयोग ने जवाब देते हुए राहुल गांधी से कहा कि वो अपने 'वोट चोरी' के दावे के समर्थन में एक डिक्लेरेशन दें. साथ ही, उन मतदाताओं के नाम भी भेजें, जिन्हें गलत तरीके से वोटर लिस्ट में जोड़ा गया है, ताकि इस केस में जरूरी कार्रवाई शुरू की जा सके.

चुनाव आयोग ने कहा, 

पता चला है कि आज की प्रेस कॉन्फ्रेंस में आपने (राहुल गांधी ने) बताया था कि वोटर लिस्ट में कुछ गलत मतदाता शामिल किए गए हैं और कुछ सही मतदाता बाहर रह गए हैं. इसलिए आपसे निवेदन है कि उन मतदाताओं के नामों की लिस्ट के साथ शपथ पत्र पर साइन करके हमें भेज दें, ताकि आगे की कार्रवाई की जा सके.

टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक, आयोग ने ये भी कहा कि चुनाव के नतीजों पर सिर्फ हाई कोर्ट में सवाल उठाए जा सकते हैं और अब सांसदों के चुनाव को चुनौती नहीं दी जा सकती, क्योंकि इसके लिए याचिका दाखिल करने की समय सीमा खत्म हो चुकी है.

आगे आयोग ने लिखा, 

वह जानते हैं कि निर्वाचक नामावली से संबंधित झूठी घोषणा करना जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 31 के तहत दंडनीय अपराध है.

वह ये भी जानते हैं कि झूठा साक्ष्य देना भारतीय न्याय संहिता, 2023 की धारा 227 के तहत दंडनीय है.

इतना ही नहीं, आयोग ने राहुल गांधी से यह घोषणा करने को भी कहा कि वह जिस मतदाता के बारे में जानकारी दे रहे हैं, उसके बारे में व्यक्तिगत जानकारी रखते हैं और इस संबंध में स्वेच्छा से बयान दे रहे हैं.

राहुल गांधी ने जवाब दिया

राहुल ने भी आयोग के जवाब पर जवाब दिया. उन्होंने कहा,

मैं सबके सामने सार्वजनिक तौर पर ये कह रहा हूं. इसे ही मेरी शपथ मान लीजिए. ये डेटा चुनाव आयोग का है. हम बस आपको दिखा रहे हैं. ये हमारा डेटा नहीं है. दिलचस्प बात ये है कि चुनाव आयोग ने खुद इस जानकारी का खंडन नहीं किया है.

राहुल गांधी ने कहा कि चुनाव आयोग ने ये भी नहीं कहा कि वो जिन वोटर्स की बात कर रहे हैं, वह गलत है. अगर गलत है तो बताइए क्योंकि सच्चाई तो वह जानते हैं.

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