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बीफ़ बिरयानी वाले सीन पर मलयालम फिल्म 'हाल' फंसी, सेंसर बोर्ड ने कहा-"इसमें हिडन एजेंडा है"

RSS के ध्वजा प्रणाम और राखी के सीन से सेंसर बोर्ड को आपत्ति. 'हाल' के मेकर्स CBFC के खिलाफ कोर्ट पहुंच गए हैं.

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सेंसर बोर्ड की वजह से फिल्म की रिलीज़ डेट को पहले ही 2 बार टाला जा चुका है.
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शुभांजल
10 अक्तूबर 2025 (Updated: 10 अक्तूबर 2025, 07:34 PM IST)
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CBFC ने बीफ बिरयानी का हवाला देकर मलयालम फिल्म Haal को सेंसर सर्टिफिकेट देने से मना कर दिया है. Kumbalangi Nights फेम Shane Nigam और Sakshi Vaidya स्टारर इस इंटरफेथ लव स्टोरी में सेंसर बोर्ड ने 15 कट्स लगाने के निर्देश दिए हैं. इसमें बीफ बिरयानी खाने वाले इस सीन के अलावा झंडे को प्रणाम वाला एक सीन भी है. इस फिल्म के मेकर्स सेंसर बोर्ड के इस फैसले के विरोध में केरल हाई कोर्ट को पहुंच गए हैं.

द हिन्दू की रिपोर्ट के मुताबिक, ‘हाल’ को रीजनल सेंसर ऑफिस से हरी झंडी मिल चुकी थी. मेकर्स ने सितंबर के पहले हफ्ते में ही फिल्म को सर्टिफिकेशन के लिए वहां जमा करवा दिया था. ऐसा इसलिए ताकि सेंसर बोर्ड से सर्टिफिकेट मिलने के बाद इसे 10 सितंबर को सिनेमाघरों में रिलीज़ किया जा सके. रीजनल ऑफिस ने इस फिल्म को पास भी कर दिया. इसके बाद मेकर्स को बताया गया कि इस फिल्म को रिवाइजिंग कमिटी के पास भेज दिया गया है.

पता चला कि CBFC के मुंबई हेडक्वार्टर ने इस पर रोक लगा दी है. उन्हें फिल्म के कई सीन पर आपत्ति थी. इनमें से कुछ सीन इस प्रकार हैं,

1) फिल्म के एक सीन में एक किरदार को बीफ बिरयानी खाते हुए दिखाया गया है. CBFC ने इसे डिलीट करने कहा है.
2) एक सीन में महिला किरदार को अपनी पहचान छिपाने के लिए पर्दे का इस्तेमाल करते हुए दिखाया गया है. इस सीन को हटाने के निर्देश दिए गए.  
3) एक सीन में कुछ पात्रों को राखी पहने हुए दिखाया गया है. उस तरह की राखी अक्सर RSS कार्यकर्ता पहनते हैं. मेकर्स से इस सीन को भी हटाने को कहा गया है. 
4) वो सीन, जहां एक कैरेक्टर RSS कार्यकर्ताओं की तरह 'ध्वजा प्रणाम' कहता है, उसे डिलीट करने कहा गया है.

इसके अलावा कई अन्य सीन्स भी हैं, जिन पर सेंसर बोर्ड को ऑबजेक्शन है. उनके मुताबिक, इन फिल्म में कई सेंसिटिव मुद्दों को छुआ गया है, जिससे लोगों की सांप्रदायिक भावनाएं आहत हो सकती हैं. इसलिए फिल्म को रिलीज़ करने से पहले इन दृश्यों में बदलाव करना ज़रूरी है. बोर्ड का कहना है कि इन सीन्स के पीछे मेकर्स का एक ‘हिडन एजेंडा’ है.

रोचक बात ये है कि यदि मेकर्स ये बदलाव कर भी देते हैं, तब भी फिल्म को A सर्टिफिकेट ही दिया जाएगा. डायरेक्टर वीरा ने सेंसर बोर्ड की इस डिमांड को पूरी तरह से गलत बताया है. उनके मुताबिक, फिल्म में किसी को भी बीफ बिरयानी खाते हुए नहीं दिखाया गया है. सेंसर बोर्ड ने अपने अनुमान के आधार पर इस सीन में कट लगाने को कहा. जो कि पूरी तरह गलत है.

‘हाल’ के मेकर्स की ये शिकायत भी है कि सेंसर बोर्ड जान-बूझकर इस फिल्म को लटका रही है. कायदे से इसे 10 सितंबर को रिलीज़ हो जाना चाहिए था. मगर सेंसर बोर्ड की वजह से इसे दो बार टाला जा चुका है. पहले इसकी रिलीज़ डेट 10 से बढ़ाकर 19 सितंबर की गई. फिर इसे 10 अक्टूबर की रिलीज़ डेट तय हुई. बावजूद इसके CBFC इसे आगे नहीं बढ़ा रही है.

इस खींचतान से तंग आकर मेकर्स ने केरल हाई कोर्ट का दरवाज़ा खटखटाया है. कोर्ट ने केंद्र सरकार को आदेश दिया है कि वो इस मुद्दे पर अपना स्टैंड क्लियर करें. इस मामले की अगली सुनवाई 14 अक्टूबर को होगी. जब तक कार्रवाई पूरी नहीं होती, ‘हाल’ की रिलीज़ पर रोक लगी रहेगी. 

वीडियो: 'उदयपुर फाइल्स' में सेंसर बोर्ड ने लगवाए 150 कट, दिल्ली हाई कोर्ट ने रिलीज पर रोक लगा दी

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