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PM मोदी के हेलीकॉप्टर को लेकर पंजाब सरकार के लोग क्या दावा कर रहे?

फिरोजपुर में एयर रूट के बजाय जमीनी रास्ते से जाने को लेकर सवाल उठाए.

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PM Modi की सुरक्षा में कथित चूक तब हुई, जब वो 5 जनवरी को पंजाब के दौरे पर गए थे. (फोटो: इंडिया टुडे)
PM Modi की सुरक्षा में कथित चूक तब हुई, जब वो 5 जनवरी को पंजाब के दौरे पर गए थे. (फोटो: इंडिया टुडे)
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7 जनवरी 2022 (Updated: 7 जनवरी 2022, 15:40 IST)
Updated: 7 जनवरी 2022 15:40 IST
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Modi) की सुरक्षा में कथित चूक के मामले में पंजाब सरकार के अपने दावे हैं. इंडिया टुडे से जुड़ीं कमलजीत संधू की रिपोर्ट के मुताबिक, पंजाब सरकार के सूत्रों ने बताया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का हेलीकॉप्टर 'ऑल-वेदर' हेलीकॉप्टर है, यानी हर मौसम में उड़ान भर सकता है, लेकिन इसके बाद भी इसका प्रयोग सिक्योरिटी ब्रीच वाले दिन नहीं किया गया. रिपोर्ट के मुताबिक, सूत्रों ने ये भी कहा जिस इलाके में ये उड़ान भरी जानी थी, वो पहाड़ी इलाका भी नहीं है.
इससे पहले पांच जनवरी को केंद्रीय गृह मंत्रालय ने बताया था कि प्रधानमंत्री को बठिंडा से फिरोजपुर जाना था. शुरू में उन्हें हेलीकॉप्टर से जाना था, लेकिन खराब मौसम की वजह से तय किया गया कि प्रधानमंत्री सड़क के रास्ते जाएंगे. मंत्रालय के बयान के मुताबिक, प्रधानमंत्री अपने काफिले के साथ निकले थे. हुसैनीवाला में राष्ट्रीय शहीद स्मारक से लगभग 30 किलोमीटर दूर जब पीएम का काफिला एक फ्लाईओवर पर पहुंचा, तो पाया गया कि कुछ प्रदर्शनकारियों ने सड़क को ब्लॉक कर दिया था. पीएम 15-20 मिनट फ्लाईओवर पर फंसे रहे. मंत्रालय के मुताबिक, ये पीएम की सुरक्षा में एक बड़ी चूक थी.
पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी का कहना है कि प्रधानमंत्री की कथित सुरक्षा चूक में पंजाब पुलिस की कोई गलती नहीं है. (फोटो- ANI)
पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी का कहना है कि प्रधानमंत्री की कथित सुरक्षा चूक में पंजाब पुलिस की कोई गलती नहीं है. (फोटो- ANI)

केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इस पूरे मामले पर पंजाब सरकार से विस्तृत रिपोर्ट मांगी थी. साथ ही साथ जांच के लिए एक टीम भी गठित कर दी. दूसरी तरफ पंजाब सरकार ने किसी भी प्रकार की सुरक्षा चूक से इनकार कर दिया. इस मामले पर दोनों तरफ से राजनीतिक बयानबाजी भी हुई. एक तरफ बीजेपी के नेताओं ने कांग्रेस पर प्रधानमंत्री के खिलाफ साजिश रचने के आरोप लगाया, तो वहीं कांग्रेस के नेताओं ने इसे बीजेपी का नाटक करार देते हुए कहा कि प्रधानमंत्री की फिरोजपुर में प्रस्तावित रैली में लोग नहीं आए थे इसलिए उसे रद्द करने के लिए सुरक्षा चूक का बहाना बनाया गया. फिरोजपुर SSP को नोटिस इस घटनाक्रम के अगले दिन यानी 6 जनवरी को भारतीय किसान यूनियन (क्रांतिकारी) ने कहा था कि प्रदर्शनकारी किसानों को फिरोजपुर के SSP ने जानकारी दी थी कि प्रधानमंत्री का काफिला किस रास्ते से होकर गुजरेगा. संगठन के मुताबिक, पुलिस ने उस रास्ते से प्रदर्शनकारियों को हटने के लिए कहा था. हालांकि, प्रदर्शनकारियों को लगा कि SSP झूठ बोल रहे हैं. अब केंद्रीय गृह मंत्रालय ने फिरोजपुर के SSP को कारण बताओ नोटिस भेजा है. कमलजीत संधू की रिपोर्ट के मुताबिक, मंत्रालय ने फिरोजपुर SSP से पूछा है कि आखिर उनके खिलाफ कार्रवाई क्यों ना की जाए.
दूसरी तरफ फिरोजपुर पुलिस ने इस मामले में अज्ञात लोगों के खिलाफ FIR दर्ज की है. उसने IPC की धारा 283 (सार्वजनिक रास्ते पर संकट या बाधा पैदा करना) के तहत मामला दर्ज किया है. इस धारा के तहत अधिकतम 200 रुपये के जुर्माने का प्रावधान है. ये FIR इंस्पेक्टर बलबीर सिंह के बयान के आधार पर दर्ज की गई है.
सुप्रीम कोर्ट ने प्रधानमंत्री की पंजाब यात्रा के रिकॉर्ड्स सुरक्षित रखने को कहा है. (फोटो: India Today/PTI)
सुप्रीम कोर्ट ने प्रधानमंत्री की पंजाब यात्रा के रिकॉर्ड्स सुरक्षित रखने को कहा है. (फोटो: India Today/PTI)

इस बीच सुप्रीम कोर्ट ने पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट के रजिस्ट्रार जनरल को प्रधानमंत्री की पंजाब यात्रा से जुड़े सभी रिकॉर्ड्स को सुरक्षित रखने का आदेश दिया है. ये रिकॉर्ड्स केंद्र और राज्य सरकार की एजेंसियों की तरफ से रजिस्ट्रार जनरल को दिए जाएंगे. कोर्ट ने प्रधानमंत्री की सुरक्षा में कथित चूक की जांच के लिए केंद्र और राज्य सरकार की तरफ से बनाई गईं अलग-अलग को अपनी जांच अगली सुनवाई तक आगे ना बढ़ाने के लिए भी कहा है. सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के दौरान सॉलिसिटर जनरल ने पंजाब सरकार की तरफ से बनाई गई कमेटी की जांच पर सवाल उठाए थे. उन्होंने कहा था कि इस कमेटी को पूरे घटनाक्रम की जांच की इजाजत नहीं दी जा सकती.

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