गुजरात सरकार की नई कैबिनेट ने गुरुवार, 16 सितंबर को शपथ ले ली. नए मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल की कैबिनेट में कुल 24 मंत्रियों को शामिल कर शपथ दिलाई गई. इनमें 10 कैबिनेट मंत्री हैं. वहीं, 14 राज्य मंत्री बनाए गए हैं. बीजेपी ने पुराने मंत्रियों की जगह सभी नए चेहरों को मंत्रिमंडल में जगह दी है. पार्टी ने कैबिनेट के जरिए जातीय और क्षेत्रीय समीकरण साधने का दांव चला है.
इसके अलावा कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में आए तीन नेताओं को भी मंत्रिमंडल में शामिल किया गया है. मंत्रिमंडल में पाटीदार समुदाय को खास तवज्जो दी गई है. पटेल समुदाय से सबसे ज्यादा 6 नेताओं को मंत्री बना गया है. वहीं, 4 OBC, 2 ब्राह्मण, 3 क्षत्रिय, 4 आदिवासी, 3 दलित और एक जैन समुदाय के नेता को भी मंत्री पद दिया गया है. गुजरात की सरकार में अब मुख्यमंत्री समेत कुल 25 मंत्री हैं.
कैबिनेट मंत्री
1. राजेंद्र त्रिवेदी- विधानसभा स्पीकर रहे राजेंद्र त्रिवेदी ने मंत्रियों के शपथग्रहण से कुछ देर पहले ही स्पीकर पद से इस्तीफा दिया था. उन्हें 19 फरवरी, 2018 को स्पीकर बनाया गया था. राजेंद्र त्रिवेदी वड़ोदरा की रावपुरा विधानसभा सीट से विधायक हैं. इससे पहले राजेंद्र त्रिवेदी गुजरात के खेल और संस्कृति मंत्री रह चुके हैं. इस बार उन्हें रेवेन्यू और लॉ एंड ऑर्डर मिनिस्टर बनाया गया है.
2. जीतू वघानी- पूरा नाम जीतेंद्र भाई सवजी भाई वघानी है. भावनगर पश्चिम विधानसभा सीट से विधायक हैं. गुजरात बीजेपी के प्रेसिडेंट रह चुके हैं. वह लेऊवा पाटीदार हैं. सौराष्ट्र से आते हैं. LLB किया है. कंस्ट्रक्शन के बिजनेस में रहे हैं. पहली बार 2007 में कांग्रेस के नेता शक्ति सिंह गोहिल को भावनगर पश्चिम से हराया था. 2017 में लगातार तीसरी बार विधायक बने. जीतू वघानी को शिक्षा मंत्री बनाया गया है.
3. ऋषिकेश पटेल- पटेल रुषिकेश गणेशभाई. विसनगर विधासभा सीट से विधायक हैं. इस सीट से उन्होंने 2007, 2012 और फिर 2017 में जीत हासिल की. वह विसनगर की Agricultural Produce Market Committee (APMC) के चेयरमैन हैं. बीजेपी मेहसाना जिले के प्रेसिडेंट रहे हैं. 12वीं तक पढ़ाई की है. उन्हें आरोग्य और परिवार कल्याण की जिम्मेदारी दी गई है.
4. पूर्णश कुमार मोदी- सूरत पश्चिम सीट से विधायक हैं. 2017 के विधानसभा चुनाव में उन्होंने कांग्रेस के इकबाल दाउद पटेल को हराया था. इससे पहले 2013 में हुए उपचुनाव में उन्होंने जीत हासिल की थी. गुजरात सरकार में संसदीय सचिव रह चुके हैं. बीजेपी सूरत के प्रेसिडेंट भी रहे हैं. पोस्ट ग्रेजुएट हैं. उन्हें मार्ग और मकान से जुड़ा मंत्रालय मिला है.

5. राघव पटेल– जामनगर ग्रामीण सीट से विधायक हैं. 2007 में सरकारी अस्पताल में दंगा और तोड़फोड़ करने के मामले में अदालत ने उन्हें 6 महीने की सजा सुनाई थी. जिस समय की ये घटना है तब राघव पटेल कांग्रेस के विधायक थे. इसके 10 साल बाद 2017 में राघव ने बीजेपी जॉइन कर ली थी. नए मंत्रिमंडल में इन्हें कृषि पशुपालन और गौ संवर्धन का जिम्मा सौंपा गया है.
6. अर्जुन सिंह चव्हाण- महेमदावाद सीट से विधायक हैं. अर्जुन सिंह चौहान भाजपा के राज्य सचिव रह चुके हैं. OBC से आते हैं. खेड़ा जिले में बीजेपी के प्रेसिडेंट भी हैं. बीकॉम किया हुआ है. ग्रामीण विकास और गांवों में गृह निर्माण का जिम्मा मिला है.
7. किरीट राणा- बीजेपी के टिकट पर पांचवीं बार विधायक चुने गए. साल 1995 में पहली बार विधायक बने और उससे बाद से लगातार जीत दर्ज करते रहे. 2017 में हार गए थे. लेकिन चेतन खेचर ने कांग्रेस से इस्तीफा देकर बीजेपी का दामन थाम लिया था. इसके बाद उपचुनाव में किरीट राणा फिर विधायक बने. पहले भी मंत्री रहे हैं. इस बार उन्हें वन पर्यावरण और क्लाइमेट चेंज मंत्रालय का जिम्मा मिला है.
8. नरेश पटेल- गणदेवी विधानसभा सीट से पहली बार विधायक बने. पाटीदार समुदाय के लेऊवा पटेल समाज से आते हैं. बीजेपी विधायक खोडलधाम ट्रस्ट यानी पाटीदारों की कुल देवी के मंदिर के अध्यक्ष भी हैं. 2017 के चुनाव में पटेल आरक्षण आंदोलन को खत्म करने के लिए बीजेपी ने उन्हें आगे किया था. उन्हें आदि जाति विकास मंत्रालय का जिम्मा दिया गया है.

9. प्रदीप परमार– प्रदीप सिंह परमार असरवा सीट से विधायक हैं. यह सीट एससी के लिए रिजर्व है. परमार 2017 में पहली बार विधायक बने थे. 10वीं पास हैं. जातीय समीकरण साधने के लिए उन्हें दलित कोटे से मंत्री बनाया गया है. उन्हें सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय की जिम्मेदारी दी गई है.
10. कनु देसाई– कनुभाई देसाई पारदी सीट से विधायक हैं. देसाई 2012 में पहली बार गुजरात विधानसभा के लिए चुने गए थे. इससे पहले वह तहसील स्तर के कई महत्वपूर्ण पदों पर भी रहे हैं. बीकॉम और एलएलबी की डिग्री हासिल की हैं. उनकी चार बेटियां हैं. उन्होंने अपना पेशा फार्मिग और सर्विस बताया है. वित्त और पेट्रोकेमिकल्स की जिम्मेदारी दी गई है.
इनके अलावा हर्ष संघवी, जगदीश पंचाल, ब्रिजेश मेरजा जितु चौधरी, मनिषा वकिल, मुकेश पटेल, निमिषा सुथार, अरविंद रैयाणी, कुबेर डिडोल, किर्तिसिंह वाघेला, गजेन्द्र सिंह परमार, राधवजी मरवाणा, विनोद मरोडिया और देवाभाई मालव को राज्य मंत्री बनाया गया है.
गृह मंत्रालय की जिम्मेदारी हर्ष संघवी को (स्वतंत्र प्रभार) को दी गई है. जगदीश पंचाल को कुटीर उद्योग और नमक उद्योग का स्वतंत्र प्रभार दिया गया है. बृजेश मेरजा को श्रम रोजगार पंचायत का स्वतंत्र प्रभार दिया गया है. जीतू चौधरी को नर्मदा जल संपत्ति और पानी पुरवठा का भी प्रभार दिया गया है.
Overwhelmed with the new responsibility of MoS (Gujarat State) under the able leadership of CM Shri @Bhupendrapbjp ji and @BJP4Gujarat President Shri @CRPaatil Ji.
I will fulfil my duty with utmost dedication towards the state and the people.🙏 pic.twitter.com/Qivz8lGTZu
— Harsh Sanghavi (@sanghaviharsh) September 16, 2021
मनिषा को महिला और बाल कल्याण का स्वतंत्र प्रभार दिया गया है. मुकेश पटेल को कृषि ऊर्जा और पेट्रोकेमिकल्स. निमिषा सुथार को आदि जाति विकास आरोग्य और परिवार कल्याण. अरविंद रयाणवी को वाहन व्यवहार नागरिक उड्डयन प्रवासन और यात्रा धाम विकास का प्रभार दिया गया है. कुबेर डिंडोर को शिक्षा का प्रभाव दिया गया है. कीर्ति सिंह वाघेला को प्राथमिक माध्यमिक और प्रशिक्षण.
इनके अलावा गजेंद्र सिंह परमार को अन्न नागरिक पूर्वथा और ग्राहक सुरक्षा. आरसी मकवाना को सामाजिक न्याय और अधिकारिता. विनोद मोराडिया को शहरी विकास और शहरी गृह निर्माण. देवाभाई महालम को पशुपालन और गौ संवर्धन का प्रभार दिया गया है.
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