"दो दिन से डराया-धमकाया जा रहा है" प्रियांक खरगे ने संघ और बीजेपी पर बड़ा इल्जाम लगा दिया
Congress अध्यक्ष Mallikarjun Kharge के बेटे Priyank Kharge ने दो दिन पहले Karnataka के मुख्यमंत्री Siddaramaiah को पत्र लिखते हुए राज्य के सरकारी संस्थानों में RSS की गतिविधियों पर बैन लगाने की मांग की थी. अब उनका कहना है कि इसके बाद से उन्हें लगातार धमकी भरे फोन आ रहे हैं. उन्हें फोन पर गंदी-गंदी गालियां दी जा रही हैं.

प्रियांक खरगे द्वारा RSS की गतिविधियों पर बैन लगाने की मांग का मुद्दा लगातार गरमाता जा रहा है. कर्नाटक सरकार के मंत्री और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के बेटे प्रियांक ने आरोप लगाया है कि पिछले दो दिनों से उन्हें और उनके परिवार को लगातार डराया-धमकाया जा रहा है. उन्हें गंदी-गंदी गालियां देते हुए फोन किए जा रहे हैं. प्रियांक ने कहा कि जब RSS ने महात्मा गांधी या बाबासाहेब आंबेडकर को नहीं बख्शा, तो मुझे क्यों बख्शेंगे?
क्या है मामला?मालूम हो कि प्रियांक खरगे ने दो दिन पहले कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया को पत्र लिखते हुए राज्य के सरकारी संस्थानों में RSS की गतिविधियों पर बैन लगाने की मांग की थी. उन्होंने आरोप लगाया था कि संघ सरकारी स्कूलों, खेल के मैदानों और मंदिरों में अपनी शाखाएं चलाता है. इन शाखाओं में बच्चों और युवाओं के बीच नफरती और बांटने वाले विचार फैलाए जाते हैं. उनका कहना था कि इस तरह की गतिविधियां संविधान की भावना के खिलाफ हैं. अब प्रियांक का आरोप है कि पत्र लिखने के बाद से उन्हें लगातार धमकियां मिल रही हैं. उन्होंने एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा,
भाजपा ने साधा था निशानापिछले दो दिनों से मेरे फोन की घंटी बजती ही जा रही है. धमकियों, डराने-धमकाने और मुझे और मेरे परिवार को दी जाने वाली सबसे गंदी गालियों से भरे फोन. सिर्फ इसलिए, क्योंकि मैंने सरकारी स्कूलों, कॉलेजों और सार्वजनिक संस्थानों में RSS की गतिविधियों पर सवाल उठाने और उन्हें रोकने की हिम्मत की थी. लेकिन मैं न तो विचलित हूं और न ही हैरान. जब RSS ने महात्मा गांधी या बाबासाहेब आंबेडकर को नहीं बख्शा, तो मुझे क्यों बख्शेंगे? अगर उन्हें लगता है कि धमकियां और व्यक्तिगत ताने मुझे चुप करा देंगे, तो वे गलतफहमी में हैं. यह तो अभी शुरू हुआ है.
प्रियांक ने आगे कहा कि अब समय आ गया है कि बुद्ध, बसवन्ना और बाबासाहेब के सिद्धांतों पर आधारित एक ऐसा समाज बनाया जाए जो समानता, तर्क और करुणा पर आधारित हो. और इस देश को सबसे खतरनाक वायरस से मुक्त किया जाए. बताते चलें कि प्रियांक के पत्र लिखने के बाद ही इस पर बवाल मच गया था. कर्नाटक भाजपा ने तुरंत प्रियांक के पिता और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे की RSS के कार्यक्रम में शामिल होने की एक पुरानी तस्वीर साझा कर दी. तस्वीर 2002 की थी, जब मल्लिकार्जुन खरगे बेंगलुरु के नागवारा में RSS के एक कार्यक्रम में गए थे. उस समय वह राज्य के गृह मंत्री थे. भाजपा ने तस्वीर के साथ एक्स पर लिखा
देखिए, प्रियांक खरगे! आपके पिता ने व्यक्तिगत रूप से शिविर का दौरा किया, RSS की सामाजिक सेवा के कामों की तारीफ की और पूरा सहयोग दिया. क्या आप आज आलाकमान को खुश करने के लिए नाटक कर रहे हैं?

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इस पर प्रियांक ने जवाब दिया कि भाजपा झूठा प्रचार कर रही है. उनके पिता अधिकारियों और समुदाय के प्रतिनिधियों के साथ शांति समिति की बैठक की अध्यक्षता करने के बाद शिविर गए थे. खरगे, वहां तत्कालीन पुलिस कमिश्नर श्री संगलियाना के साथ आपके लोगों को कानून-व्यवस्था बिगाड़ने के खिलाफ आगाह करने गए थे. बहरहाल, इस मुद्दे पर फिलहाल विवाद थमता नजर नहीं आ रहा है. भाजपा इस मुद्दे पर खरगे और कांग्रेस के खिलाफ और आक्रामक रुख अपना सकती है.
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