जानलेवा हमले में बाल-बाल बचे शिया धर्मगुरू मौलाना कल्बे जव्वाद, हमलावरों ने गाड़ी पर बरसाए ईंट-पत्थर
Lucknow: हमले के बाद Maulana Kalbe Jawad अपने समर्थकों के साथ पांच घंटे तक धरने पर बैठे रहे. पुलिस की ओर से आरोपियों पर मामला दर्ज करने और कार्रवाई का आश्वासन देने के बाद वह वहां से गए. पुलिस ने 25-30 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है.

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में मुस्लिम धर्मगुरु मौलाना कल्बे जव्वाद पर हमला हुआ है. वह लखनऊ के कर्बला अब्बास बाग में अतिक्रमण की स्थिति का जायजा लेने पहुंचे थे. इसी दौरान अतिक्रमणकारियों ने उनकी गाड़ी पर ईंट-पत्थर बरसाने लगे. आरोप है कि हमला पुलिस के सामने हुआ है. हमले में मौलाना कल्बे जव्वाद बाल-बाल बच गए और उन्हें चोट नहीं आई. लेकिन उनकी गाड़ी को काफी नुकसान हुआ है.
इसके बाद मौलाना अपने समर्थकों के साथ वहीं धरने पर बैठ गए. जब पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज किया, तब जाकर उन्होंने धरना खत्म किया. दैनिक भास्कर की रिपोर्ट के मुताबिक घटना 13 अक्टूबर, सोमवार शाम 6 बजे की है. मौलाना कल्बे जव्वाद को जानकारी मिली कि लखनऊ के ठाकुरगंज स्थित कर्बला अब्बास बाग की जमीन पर अवैध निर्माण हुआ है.
पुलिस से मांगी थी सुरक्षाइसी को देखने के लिए वह मौके पर पहुंचे थे. जाने से पहले उन्होंने पुलिस प्रशासन से सुरक्षा भी मांगी थी, लेकिन पुलिस ने इस पर एक्शन नहीं लिया. इसके बाद जब वह वहां पहुंचे तो उन पर जानलेवा हमला किया गया. मौलाना कल्बे जव्वाद ने भास्कर को बताया कि हमले के वक्त पुलिस भी वहां मौजूद थी. हमलावरों ने पूरी कोशिश की थी कि गाड़ी का कांच तोड़कर उनके ऊपर हमला करें. लेकिन किसी तरह वह बच गए.
कर्बला अब्बास बाग के केयरटेकर ने मामले की शिकायत ठाकुरगंज थाने में दर्ज कराई है. पुलिस ने 6 नामजद और 20-25 अज्ञात आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है. इस दौरान करीब पांच घंटे तक कल्बे जव्वाद अपने समर्थकों के साथ धरने पर बैठे रहे. पुलिस की ओर से कार्रवाई का आश्वासन मिलने के बाद वह वहां से गए.
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कौन हैं मौलाना कल्बे जव्वाद?बता दें कि मौलाना कल्बे जव्वाद उत्तर प्रदेश के प्रमुख शिया धर्मगुरू और मुस्लिम स्कॉलर हैं. वह ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के सदस्य भी हैं. इसके अलावा वह लखनऊ के इमामबाड़ा में नियमित रूप से मजलिस करते हैं. वह मजलिस-ए-उलेमा-ए-हिंद के महासचिव भी हैं. उनकी छवि एक राष्ट्रवादी नेता के तौर पर है. कश्मीर को उन्होंने भारत का अभिन्न अंग बताया था.
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