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'सिर्फ ऑनलाइन टिकट लेने वालों को ही इंश्योरेंस, ये भेदभाव क्यों?', SC ने रेलवे से पूछा बड़ा सवाल

Supreme Court ने पूछा कि यात्री चाहे ऑनलाइन टिकट ले या ऑफलाइन, दुर्घटना में जान तो दोनों की ही जाएगी. फिर दुर्घटना बीमा कवर सिर्फ ऑनलाइन टिकट खरीदने वालों को क्यों मिलता है?

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सुप्रीम कोर्ट ने रेलवे से 13 जनवरी तक इंश्योरेंस कवर को लेकर जवाब देने को कहा है. (इंडिया टुडे)
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आनंद कुमार
28 नवंबर 2025 (Published: 03:34 PM IST)
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भारतीय रेलवे सिर्फ ऑनलाइन टिकट खरीदने वाले पैसेंजर को ही इंश्योरेंस कवर देता है. ऑफलाइन टिकट खरीदने वालों को नहीं. सुप्रीम कोर्ट ने हाल ही में एक सुनवाई के दौरान भारतीय रेलवे से इसका कारण पूछा है. कोर्ट ने पूछा कि आखिर ऐसा क्यों है कि ट्रेन में दुर्घटना होने पर मिलने वाला एक्सीडेंट इंश्योरेंस कवर सिर्फ उन यात्रियों के लिए उपलब्ध है जो ऑनलाइन टिकट बुक करते हैं, जबकि लाखों यात्री आज भी ऑफलाइन टिकट बुक करते हैं और उन्हें यह सुविधा नहीं मिलती.

जस्टिस अहसानुद्दीन अमानुल्लाह और जस्टिस के. विनोद चंद्रन की बेंच ने रेलवे से इस भेदभाव का कारण बताने को कहा है. कोर्ट ने साफ कहा कि यात्री चाहे ऑनलाइन टिकट ले या ऑफलाइन, उसकी जान की कीमत एक बराबर होती है. फिर सुविधाओं में इतना अंतर क्यों है, रेलवे को इसका जवाब देना होगा.

सुनवाई के दौरान एडिशनल सॉलिसिटर जनरल (ASG) विक्रमजीत बनर्जी रेलवे का पक्ष रख रहे थे. उन्होंने ही कोर्ट को बताया कि फिलहाल एक्सीडेंट इंश्योरेंस कवर केवल ऑनलाइन टिकट बुकिंग करने वाले यात्रियों के लिए लागू है. इस पर सख्त रुख अपनाते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा,

 यात्री चाहे ऑनलाइन टिकट ले या ऑफलाइन, दुर्घटना में जान तो दोनों की ही जाएगी. फिर इंश्योरेंस कवरेज में भेदभाव क्यों? सुप्रीम कोर्ट की बेंच ने कहा कि रेलवे को यह अंतर समझाना होगा कि ऑफलाइन टिकट खरीदने वाले लोग इस सुविधा से वंचित क्यों रखे गए हैं. कोर्ट ने रेलवे से 13 जनवरी तक इस सवाल का विस्तृत जवाब मांगा है.

आम यात्रियों के लिए बेहद जरूरी सवाल

सुप्रीम कोर्ट ने जो सवाल उठाया है, उस पर अगर 13 जनवरी को कोई फैसला होता है तो यह उन लाखों लोगों के लिए बेहद महत्वपूर्ण हो सकता है जो रोज ट्रेन में सफर करते हैं. दुर्घटना की स्थिति में इंश्योरेंस कवर मिलने से पीड़ित परिवारों को तुरंत आर्थिक सहायता और घायल होने या फिर मौत की स्थिति में मुआवजा मिलेगा. अगर कोर्ट रेलवे को ऑफलाइन टिकट वालों के लिए भी इंश्योरेंस लागू करने को कहता है तो यह देश के सबसे बड़े ट्रांसपोर्ट सिस्टम में बड़ा बदलाव होगा.

यात्रियों की सुरक्षा पर फोकस रखे रेलवे : सुप्रीम कोर्ट 

सुप्रीम कोर्ट रेलवे में सुरक्षा से जुड़े एक केस की सुनवाई कर रहा है. सीनियर एडवोकेट शिखिल सूरी ने 'रेलवे एक्सीडेंट कम्पनसेशन' केस में सुरक्षा से जुड़े सवालों को उठाया था. कोर्ट ने कहा कि रेलवे का पहला फोकस ट्रैक और रेलवे क्रॉसिंग की सुरक्षा पर होना चाहिए. अगर यह व्यवस्था दुरुस्त होगी तो बाकी समस्याएं अपने आप ठीक होती जाएंगी. रेलवे ने कोर्ट में सुरक्षा सुधारों को लेकर एक रिपोर्ट भी पेश की. कोर्ट ने इस पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि रेलवे को अपने सिस्टम को बेहतर बनाने के लिए लगातार काम करते रहना चाहिए.

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